Child Development & Pedagogy -1



प्रश्‍न 1- बुद्धि का संज्ञानात्मक सिद्धान्त किसने दिया । 
उत्‍तर – जीनप्याजे ने । 

प्रश्‍न 2- बुद्धि का संवेगात्मक विकास का सिद्धान्त किसने दिया । 
उत्‍तर – गोलमैन ने । 

प्रश्‍न 3- बुद्धि का संरचना सिद्धान्त किसने दिया । 
उत्‍तर – आइजेन्क ने । 

प्रश्‍न 4- किशोर की सबसे नाजुक एवं संवेदनशील समस्‍या क्‍या होती है। 
उत्‍तर – यौन सम्‍बन्‍धी समस्‍या । 

प्रश्‍न 5- मानव विकास की किस अवस्‍था के बाद व्‍यक्ति परिपक्‍व हो जाता है। 
उत्‍तर – किशोरावस्‍था के बाद । 

प्रश्‍न 6- शिक्षण की विभिन्‍न विधियों के प्रयोग के लिए कौन सी अवस्‍था सर्वाधिक उपयुक्‍त्‍ा है। 
उत्‍तर – बाल्‍यावस्‍था । 

प्रश्‍न 7- मै कौन हूँ, मैं क्‍या हॅूं, आदि जैसी प्रबल भावनाऍ बालक के विकास की किस अवस्‍था की सूचक होती है। 
उत्‍तर – किशोरावस्‍था । 

प्रश्‍न 8- विकास कभी न समाप्‍त होने वाली प्रक्रिया है। यह विचार किस सिद्धान्‍त से सम्‍बन्धित है। 
उत्‍तर – निरन्‍तरता का सिद्धान्‍त । 

प्रश्‍न 9- शिक्षा मनोविज्ञान एक विज्ञान है। 
उत्‍तर – मानव व्‍यवहार का । 

प्रश्‍न 10- विकास प्राणी में प्रगतिशील परिवर्तन है जो निश्चित लक्ष्‍यों की ओर निरन्‍तर निर्देशित होता रहता है। यह कथन किसका है। 
उत्‍तर – ड्रेवर का । 

प्रश्‍न 11- सीखने का सिद्धान्त किसने दिया। 
उत्‍तर – थार्नडाइक ने ! 

प्रश्‍न 12- खेल पद्धत्ति के जनक कौन है। 
उत्‍तर – किल पैट्रिक ! 

प्रश्‍न 13- ह्यूरिस्टिक पद्धत्ति के जनक कौन है। 
उत्‍तर – आर्म स्ट्रांग ! 

प्रश्‍न 14- प्रोजेक्ट पद्धत्ति के जनक कौन है। 
उत्‍तर – जानडेवी । 

प्रश्‍न 15- अस्थाई मानव दांत कितने होते है। 
उत्‍तर – 20 । 

प्रश्‍न 16- शिशु के मस्तिष्क का वजन कितना होता है। 
उत्‍तर – लगभग 350 ग्राम । 

प्रश्‍न 17- मनुष्य के मस्तिष्क का वजन कितना होता है। 
उत्‍तर – लगभग 1400 ग्राम । 

प्रश्‍न 18- जीनप्याजे ने जिनेवा मे किसकी स्थापना की । 
उत्‍तर – लेवोरट्री स्कूल की स्थापना की जिसमें उन्होनें मनोविज्ञान के कई प्रयोग किये । 

प्रश्‍न 19- जीनप्याजे के द्वारा रचित पुस्तक का नाम क्या है। 
उत्‍तर – द लैंगुवेज एण्ड थाट ऑफ द चाइल्ड
यह पुस्तक उन्होनें 1923 में लिखी थी। 

प्रश्‍न 20- जीनप्याजे ने संज्ञानात्मक विकास को ध्यान में रखते हुये बालक की कितनी अवस्था बतलाई । 
उत्‍तर – जीनप्याजे ने संज्ञानात्मक विकास को ध्यान में रखते हुये बालक की 4 अवस्था बतलाई ।
1.संवेदी गत्यात्मक अवस्था (जन्म से 2 वर्ष तक)
2. पूर्व संक्रियात्मक अवस्था (2 से 7 वर्ष तक)
3. ठोस/मूर्त संक्रियात्मतक अवस्था (7 से 11 वर्ष तक)
4. औपचारिक संक्रियात्मंक अवस्था (11 से 18 वर्ष तक) 

प्रश्‍न 21- बच्‍चों में बौद्धिक विकास की चार विशिष्‍ट अवस्‍थाओं की पहचान की गई । 
उत्‍तर – पियाजे द्वारा । 

प्रश्‍न 22- विकास कभी न समाप्‍त होने वाली प्रक्रिया है। यह विचार किससे संबंधित है। 
उत्‍तर – निरंतरता का सिद्धान्‍त । 

प्रश्‍न 23- प्राथमिक स्‍तर पर एक शिक्षक में निम्‍न में से किसे सबसे महत्‍वपूर्ण विशेषता मानना चाहिए। 
उत्‍तर – धैर्य और दृढ़ता । 

प्रश्‍न 24- उत्‍तरबाल्‍यवस्‍था में बालक भौतिक वस्‍तुओं के किस आवश्‍यक तत्‍व में परिवर्तन समझने लगते है। 
उत्‍तर – द्रव्‍यमान , संख्‍या और क्षेत्र । 

प्रश्‍न 25- दूसरे वर्ष में अंत तक शिशु का शब्‍द भंडार हो जाता है। 
उत्‍तर – 100 शब्‍द । 

प्रश्‍न 26- शर्म तथा गर्व जैसी भावना का विकास किस अवस्‍था में होता है। 
उत्‍तर – बालयवस्‍था । 

प्रश्‍न 27- मैक्‍डूगल के अनुसार मूलप्रवृति जिज्ञासा का संबंध कौन संवेग से है। 
उत्‍तर – आश्‍चर्य । 

प्रश्‍न 28- बाल्‍यावस्‍था अवस्‍था होती है। 
उत्‍तर – 12 वर्ष तक। 

प्रश्‍न 29- शारीरिक विकास का क्षेत्र है। 
उत्‍तर – स्‍नायुमंडल 

प्रश्‍न 30- विवेचना रहित विचार की अवस्‍था मानी गई है। 
उत्‍तर – 4 से 7 वर्ष । 

प्रश्‍न 31- बुद्धि का त्रिक – बिन्‍दु सिन्‍द्धान्‍त किसने दिया । 
उत्‍तर – स्‍टर्न वर्ग ने ।
इन्‍होंने बुद्धि को तीन भागों में बांटा ।
1. विशलेषणात्‍मक बुद्धि
2. व्‍यवहारिक बुद्धि
3. सृजानात्‍मक बुद्धि 

प्रश्‍न 32- जीनपियाजे के अनुसार बुद्धि क्‍या है। 
उत्‍तर – जीनपियाजे के अनुसार बुद्धि वातावरण के साथ अनुकूलन करने की प्रक्रिया है। 

प्रश्‍न 33- अल्‍फ्रेड बिने के अनुसार बुद्धि के प्रकार बताईये । 
उत्‍तर – अल्‍फ्रेड बिने के अनुसार बुद्धि चार शब्‍दों से मिलकर बनी है।
1. ज्ञान
2. अविष्‍कार
3. निर्देश
4. आलोचना 

प्रश्‍न 34- टर्मन के अनुसार बुद्धि की क्‍या परिभाषा है। 
उत्‍तर – टर्मन के अनुसार – बुद्धि अमूर्त विचारों के बारे में सोचने की योग्‍यता है। 

प्रश्‍न 35- स्‍टर्न के अनुसार बुद्धि की क्‍या परिभाषा है। 
उत्‍तर – स्‍टर्न के अनुसार – बुद्धि एक सामान्‍य योग्‍यता है। जिसके द्वरा व्‍यक्त्‍िा नई परिस्थितियों के साथ समायोजन करता है। 

प्रश्‍न 36- बकिन्घम के अनुसार बुद्धि की क्‍या परिभाषा है। 
उत्‍तर – बकिन्‍घम के अनुसार सीखने की शक्ति ही बुद्धि है। 

प्रश्‍न 37- वैसलर के अनुसार बुद्धि की क्‍या परिभाषा है। 
उत्‍तर – वैसलर के अनुसार बुद्धि किसी कार्य को करने की, तार्किक चिन्‍तन करने की, वातावरण के साथ समायोजन करने की सामूहिक योग्‍यता होती है। 

प्रश्‍न 38- सामन्‍यत: बुद्धि कितने प्रकार की है। 
उत्‍तर – सामान्‍यत: बुद्धि तीन प्रकार की होती है ।
1. अमूर्त बुद्धि
2. मूर्त बुद्धि (यांन्त्रिक बुद्धि)
3. सामाजिक बुद्धि 

प्रश्‍न 39- यांत्रिक बुद्धि या स्‍थूल बुद्धि किसे कहा जाता है । 
उत्‍तर – मूर्त बुद्धि को । 

प्रश्‍न 40- स्‍पीयर मैन के अनुसार बुद्धि की क्‍या परिभाषा है। 
उत्‍तर – स्‍पीयर मैन के अनुसार बुद्धि तार्किक चिन्‍तन करने की योग्‍यता है।

प्रश्‍न 41- बाल अपराध बनने के कारण क्या क्या है। 
उत्‍तर – 1. आनुवांशिंकता
2. व्याक्तिगत आवश्यकताओ की पूर्ति न होना
3. शारीरिक दोष – ऐसे बालक हीन भावना से ग्रसित होने के कारण अपराधी बन जाते है।
4. घर का वातावरण अशान्त होना।
5. कुसंगती के कारण
6. दादा दादी का अधिक लाड प्यार
7. स्तर हीन मनोरंजन
8. माता पिता का गरीब होना
9. पक्षपात पूर्ण व्यवहार
10. माता पिता का तलाक आदि 

प्रश्‍न 42- बाल अपराधियों के उपचार क्या क्या है। 
उत्‍तर – 1. मनोवैज्ञानिक विधि
2. समाजशास्त्रीय विधि
3. वैधानिक विधि 

प्रश्‍न 43- समस्याग्रस्त बालक कौन से होते है। 
उत्‍तर – वे बालक जिनके व्यवहार में ऐसी कोई असामान्य बात होती हैा जिसके कारण वे समस्याग्रस्त बालक बन जाते है। जैसे –
1. कक्षा में देर से आना
2. स्कूाल से भाग जाना
3. कक्षा में अधिक बाते करना
4. अधिक क्रियाशीलता होना
5. ग्रहकार्य करके न लाना
6. कक्षा में पढाई में ध्याान न लगाना 

प्रश्‍न 44- समस्याग्रस्तं बालकों की समस्या शिक्षक द्वारा कैसे दूर की जा सकती हैा 
उत्‍तर – 1. शिक्षक को चाहिए कि ऐसे बालकों को अलग-अलग बिठायें और सबसे आगे विठायें।
2. शिक्षक को स्वयं बालक की समस्या को कारणों का पता लगाना चाहिए और दूर करना चाहिए।
3. शिक्षकों को ऐसे बालकों के घर जाकर उनकी समस्या का पता लगाना चाहिए। 

प्रश्‍न 45- गिलफोर्ड ने सृजनशीलता के 4 तत्व कौन से बताये है। 
उत्‍तर – 1. लोचशीलता
2. मौलिकता
3. अपसारीशीलता
4. केन्द्रा विमुख 

प्रश्‍न 46- वैज्ञानिक गुड ने सृजनशीलता के कितने तत्व दिये। 
उत्‍तर – वैज्ञानिक गुड ने सृजनशीलता के पॉच तत्व दिये जो निम्न् है।
1. मौलिकता
2. अनुकूलता
3. विचारात्मलक
4. विचारों का सहचर्य
5. लोथ शील और विविध 

प्रश्‍न 47- सृजनात्मकता के प्रमुख तत्व कौन से है। 
उत्‍तर – 1. मौलिकता
2. नवीनता
3. लोचशीलता
4. विस्तातरण करेन की क्षमता
5. विभिन्नाता 

प्रश्‍न 48- सृजनशील बालकों की विशेषताऍ क्या क्या है। 
उत्‍तर – 1. सृजनशील बालक जिज्ञासु प्रवर्ति के होते है।
2. सृजनशील बालकों में उच्य् महत्वकांक्षा वाले होते है।
3. सृजनशील बालकों के विचार व्या‍पक होते है।
4. सृजनशील बालकों मे संवेदन शीलता अधिक पाई जाती है।
5. सृजनशील बालकों मे एकाग्रता पाई जाती है। 

प्रश्‍न 49- मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है यह किसने कहा। 
उत्‍तर – अरस्तू ने ! 

प्रश्‍न 50- बालक के सामाजीकरण की पहली पाठशाला कौन सी होती है।
उत्‍तर – पहली – घर एवं परिवार
दूसरी – खेल का मैदान
तीसरी – स्कूल 

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